कार, मोटरसाइकिल अथवा अन्य किसी भी प्रकार का वाहन चलाने वाले वाहन चालकों के लिए एक बेहद जरूरी सूचना सामने आई है जिसका पालन करना आवश्यक है. दरअसल दिल्ली सरकार का परिवहन विभाग और वाहन चालकों को नोटिस भेजने की तैयारी कर रहा है जिनके पास वह पीयूसी (पॉल्यूशन अंडर कंट्रोल) प्रमाणपत्र नहीं है. अब सरकार के नए नियमों के मुताबिक वाहन चालकों के पास सुबह पीयूसी प्रमाणपत्र ना होने पर उन्हें नोटिस भेजा जाएगा साथ ही उन पर 10 हजार रुपए तक का जुर्माना लगाया जाएगा.
इस विषय में सरकार का तर्क है कि यह अभियान प्रदूषण की समस्या से निजात दिलाने में सहायक होगा. इसीलिए विभाग वाहन चालकों के पास पीयूसी प्रमाणपत्र ना होने अथवा था वैधता समाप्त होने की स्थिति में उनके घर नोटिस भेजने हेतु सिस्टम की तैयारी कर रहा है. यदि कोई भी चालक इस बात की पालना नहीं करता है तो उनके घर इसके अलावा जुर्माने का चालान पत्र भी पहुंच जाएगा.
आपको बता दें कि केंद्रीय मोटर वाहन अधिनियम,1989 के तहत प्रत्येक मोटर वाहन (बीएस-1, बीएस-2, बीएस-3, बीएस-4, सीएनजी, एलपीजी ) के लिए पॉल्यूशन मुक्त सर्टिफिकेट का होना आवश्यक है अन्यथा यह एक अपराध की श्रेणी में आता है. जिस पर जुर्माना लगाया जा सकता है. इसके साथ ही इसमें 6 महीने की जेल भी हो सकती है.
सख्त अधिनियम होने के बावजूद भी सरकारी तंत्र की के लचीलेपन के कारण अधिकतर वाहन चालक इसकी पालना नहीं करते हैं और प्रदूषण कारी वाहन भी सड़कों पर दौड़ाते हैं जो प्रदूषण की समस्या को कहीं हद तक ज्यादा बढ़ा देते हैं. ऐसे में दिल्ली सरकार ने अब इस पर सख्त कार्यवाही करने की पहल की है.
इसीलिए उम्मीद की जा रही है कि यह दिल्ली और उसके आसपास के इलाकों में प्रदूषण की समस्या पर एक कारगर उपाय होगा क्योंकि दिल्ली और उसके आसपास के क्षेत्र में दुनिया भर के कई शहरों से अधिक प्रदूषण की समस्या बेहिसाब बढ़ रही है जो वहां की जनता के लिए कई रोगों का कारण बन रही है.
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